- ममता सरकार के परिवहन मंत्री शुवेन्दु ने दिया इस्तीफा
- विधानसभा चुनाव से ठीक पहले उलटफेर
- राज्यपाल की ओर से इसकी जानकारी दी
- पहले से ही अधिकारी के तेवर बदले थे
कोलकाता: तृणमूल कांग्रेस सरकार ममता बनर्जी नीत के मंत्री पद से पश्चिम बंगाल के
परिवहन मंत्री शुवेन्दु अधिकारी ने शुक्रवार को इस्तीफा दे दिया। श्री अधिकारी पूर्वी
मिदनापुर से तृणमूल के नेता माने जाते हैं। उन्होंने गुरुवार को हुगली नदी पुल आयोग के
अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। इसके साथ ही श्री अधिकारी के भावी भविष्य को
लेकर अटकलों का बाजार गर्म है। इसबीच राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने ट्वीट कर बताया
कि श्री अधिकारी का इस्तीफा पत्र उनके पास भेजा गया है। श्री धनखड़ ने कहा,‘‘आज
अपराह्न 1:05 बजे माननीय मुख्यमंत्री को संबोधित श्री शुवेन्दु अधिकारी का त्याग पत्र
कार्यालय से मेरे पास भेजा गया है। इस मुद्दे का संवैधानिक दृष्टिकोण से निपटारा किया
जाएगा।’’ गौरतलब है कि मुख्यमंत्री की सलाह पर संविधान के अनुच्छेद 164 के तहत
मंत्रियों की नियुक्ति राज्यपाल द्वारा की जाती है। मुख्यमंत्री की अनुशंसा पर राज्यपाल
किसी मंत्री की नियुक्ति करते हैं या फिर ऐसी ही अनुशंसा पर मंत्री को पद से हटा भी दिया
जाता है। श्री शुवेन्दु के इस्तीफे को ममता अधिकारियों ने मेरे पास भेजा है। नियमत
संवेधानिक प्रक्रिया का पालन करना होगा। श्री अधिकारी के बारे में उनके भारतीय जनता
पार्टी में शामिल होने की अटकलें लगायीं जा रही हैं। लेकिन उनके करीबी सूत्रों ने उनकी
भावी रणनीति का फिलहाल कोई खुलासा नहीं किया है।
तृणमूल कांग्रेस के शुवेन्दु ने अपना इस्तीफा कार्यालय के जरिय राज्यपाल को भेजा
श्री अधिकारी ने सुश्री ममता बनर्जी को भेजे अपने इस्तीफा पत्र में लिखा,‘‘मुझे राज्य के
लोगों की सेवा करने का अवसर देने के लिए मैं आपको धन्यवाद देता हूं, जो मैंने पूरी
प्रतिबद्धता, समर्पण और ईमानदारी के साथ किया।’’ राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने बताया
कि उन्हें श्री अधिकारी का इस्तीफा पत्र मिल गया है। उन्होंने ट्वीट कर कहा,‘‘आज
अपराह्न बाद 1:05 बजे माननीय मुख्यमंत्री को संबोधित श्री शुवेन्दु अधिकारी का
इस्तीफा कार्यालय के जरिये मेरे पास आया है।’’ राज्यपाल ने कहा,‘‘इस मुद्दे को
संवैधानिक दृष्टिकोण से संबोधित किया जाएगा।’’ राज्य में अगले चार-पांच महीने बाद
होने वाले विधानसभा चुनावों के मद्देनजर ऐसे इस्तीफे आने की और संभावना व्यक्त की
जा रही है। हालांकि श्री अधिकारी ने अब तक तृणमूल छोड़ किसी अन्य पार्टी में शामिल
होने के संकेत नहीं दिये हैं।
वैसे अधिकारी के बदले हुए तेवर को राजनीतिक गलियारे में पहले से ही भांप लिया गया
था। उनके बयान और हाल के दिनों में उनके समर्थन में कोलकाता में लगे बड़े बड़े बैनरों से
भी बगावत के स्पष्ट संकेत मिल रहे थे।
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